249 रुपए की चप्पल पर कैसे मिला पांच हजार रुपए का हर्जाना, पढ़ें पूरी खबर
जिला उपभोक्ता मंच ने सुनाया फैसला
बीकानेर.
नामी-गिरामी फुटवेयर कम्पनी को 249 रुपए की चप्पल के बदले पांच हजार रुपए हर्जाने के चुकाने पड़े। यह सुनकर भले ही आपके कान खड़े हो गए होंगे, लेकिन यह हकीकत है। बीकानेर में जिला उपभोक्ता मंच ने शनिवार को यह फैसला फुटवेयर कम्पनी को सुनाया। हुआ यूं कि 14 जुलाई 2019 को बीकानेर के रेलवे स्टेशन रोड स्थित एक नामी-गिरामी फुटवेयर कम्पनी से प्रेमरतन जोशी ने 249 रुपए की एक चप्पल की जोड़ी खरीदी थी। प्रेमरतन ने चप्पल खरीदने के बाद जब उसे गौर से देखा तो उसमें कई प्रकार की निर्माण कमियां दिखाई दी। इसकी उन्होंने फुटवेयर कम्पनी के स्थानीय मैनेजर से शिकायत की तो उन्होंने यह कहते हुए चप्पल बदलने से इंकार कर दिया कि अब इसका बिल कट चुका है।
उपभोक्ता मंच में लगाया परिवाद
परिवादी प्रेमरतन जोशी ने बताया कि उन्होंने चप्पल नहीं बदले जाने पर जिला उपभोक्ता मंच में शिकायत की। प्रकरण की सुनवाई करीब पांच माह चली। इसके बाद न्यायालय ने फुटवेयर कम्पनी के मैनेजर को पांच हजार रुपए का हर्जाना और चप्पल की कीमत का नौ फीसदी ब्याज चुकाने के आदेश दिए। जिला उपभोक्ता मंच के अध्यक्ष ओपी सींवर, सदस्य पुखराज जोशी व मधुलिका आचार्य ने बताया कि कम्पनी की सेवाओं में कमी और अनुचित व्यापार व्यवहार का दोषी मानते हुए कम्पनी के खिलाफ फैसला सुनाया गया।
बीकानेर.
नामी-गिरामी फुटवेयर कम्पनी को 249 रुपए की चप्पल के बदले पांच हजार रुपए हर्जाने के चुकाने पड़े। यह सुनकर भले ही आपके कान खड़े हो गए होंगे, लेकिन यह हकीकत है। बीकानेर में जिला उपभोक्ता मंच ने शनिवार को यह फैसला फुटवेयर कम्पनी को सुनाया। हुआ यूं कि 14 जुलाई 2019 को बीकानेर के रेलवे स्टेशन रोड स्थित एक नामी-गिरामी फुटवेयर कम्पनी से प्रेमरतन जोशी ने 249 रुपए की एक चप्पल की जोड़ी खरीदी थी। प्रेमरतन ने चप्पल खरीदने के बाद जब उसे गौर से देखा तो उसमें कई प्रकार की निर्माण कमियां दिखाई दी। इसकी उन्होंने फुटवेयर कम्पनी के स्थानीय मैनेजर से शिकायत की तो उन्होंने यह कहते हुए चप्पल बदलने से इंकार कर दिया कि अब इसका बिल कट चुका है।
उपभोक्ता मंच में लगाया परिवाद
परिवादी प्रेमरतन जोशी ने बताया कि उन्होंने चप्पल नहीं बदले जाने पर जिला उपभोक्ता मंच में शिकायत की। प्रकरण की सुनवाई करीब पांच माह चली। इसके बाद न्यायालय ने फुटवेयर कम्पनी के मैनेजर को पांच हजार रुपए का हर्जाना और चप्पल की कीमत का नौ फीसदी ब्याज चुकाने के आदेश दिए। जिला उपभोक्ता मंच के अध्यक्ष ओपी सींवर, सदस्य पुखराज जोशी व मधुलिका आचार्य ने बताया कि कम्पनी की सेवाओं में कमी और अनुचित व्यापार व्यवहार का दोषी मानते हुए कम्पनी के खिलाफ फैसला सुनाया गया।


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